पूरे देश को नई दिशा दिखा रहा दिल्ली मॉडल-केजरीवाल
दिल्ली विधानसभा में चल रहे बजट सत्र के दौरान सोमवार को एलजी के अभिभाषण पर लाए गए धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा हुई। सीएम अरविंद केजरीवाल ने प्रस्ताव का समर्थन करते हुए कहा कि आज दिल्ली मॉडल पूरे देश को नई दिशा दिखा रहा है।
‘‘आप’’ की सरकार दिल्ली के अंदर जो काम कर रही है, वो 75 साल के अंदर नहीं हुआ। दिल्ली मॉडल के तहत हमने शानदार स्कूल-अस्पताल बनाए, बिजली-पानी ठीक किया और गली-गली में मोहल्ला क्लीनिक बनवाए। इस मॉडल के तहत पूरे देश का विकास हो सकता है। दिल्ली और पंजाब को छोड़ दे ंतो आज देश भर में सरकारी स्कूल-अस्पताल बंद हो रहे हैं। एक तरह से शिक्षा और स्वास्थ्य सेक्टर निजीकरण की तरफ बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि दिल्ली की तरह पूरे देश में अच्छी शिक्षा, स्वास्थ्य और बिजली की व्यवस्था की जा सकती है और इस पर बहुत ज्यादा खर्चा भी नहीं आएगा। हमारी कैलकुलेशन के अनुसार, मात्र 11.5 लाख करोड़ रुपए खर्च कर दें तो देश के हर बच्चे को अच्छी शिक्षा, सबको अच्छा इलाज और 24 घंटे व 200 यूनिट फ्री बिजली मिल जाएगी। लेकिन इन्होंने 11 लाख करोड़ अपने दोस्तों के लोन माफ कर दिए। केंद्र सरकार को बताना चाहिए कि दोस्ती निभाना जरूरी था या देश के लोगों के प्रति अपना फर्ज निभाना जरूरी था।
एलजी के अभिभाषण के दौरान विपक्ष ने नारेबाजी कर विघ्न डाला, इसकी निंदा करता हूं- अरविंद केजरीवाल
दिल्ली विधानसभा के बजट सत्र में सोमवार को एलजी के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा हुई। इस दौरान सदन को संबोधित करते हुए सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि पक्ष और विपक्ष के बीच आपस में मतभेद हो सकते हैं, लेकिन सदन जनतंत्र का मंदिर माना जाता है और इसकी मर्यादा बनाए रखना जरूरी है। आजतक कभी ऐसा कभी नहीं होता था, लेकिन इस बार और पिछली बार ऐसा हुआ कि एलजी के अभिभाषण के दौरान विपक्ष के सदस्यों ने काफी नारेबाजी की और विघ्न डाला। विपक्ष के सदस्यों को कम से कम एलजी का अभिभाषण सुनना चाहिए था। अगर अभिभाषण में विघ्न डालते हैं तो उसमें राजनीति नजर आती है, जो अच्छी बात नहीं है। यह सदन की मर्दाया को तोड़ने वाली बात हो जाती है। सीएम ने कहा कि मैं एलजी के अभिभाषण के दौरान विपक्ष के सदस्यों द्वारा किए गए व्यवहार की निंदा करता हूं और उम्मीद करता हूं कि विपक्ष के साथी भविष्य में इस तरह की हरकत नहीं करेंगे।
दिल्ली में आज जो काम हो रहे हैं, अगर 75 साल में हो गए होते तो हमें आम आदमी पार्टी बनानी नहीं पड़ती- अरविंद केजरीवाल
सीएम ने कहा कि एलजी साहब ने दिल्ली सरकार के कामों का उल्लेख किया। दिल्ली सरकार आज ऐतिहासिक काम कर रही है। जो काम आज दिल्ली में हो रहा है, वो 75 साल के अंदर नहीं हुआ। अगर 75 साल में ये काम हो गए होते तो हमें पार्टी बनाने की जरूरत नहीं पड़ती। हमें राजनीति में आने का कोई शौक नहीं था। आज पूरे देश में दिल्ली मॉडल की चर्चा है। चाहें आप देश के किसी भी कोने या दूर दराज के किसी गांव में चले जाओ, सभी दिल्ली मॉडल की तारीफ करते हैं। थोड़े दिन पहले बिहार के एक बड़े नेता ने बताया कि बिहार में गांव-गांव में लोग कहते हैं कि स्कूल तो हमें दिल्ली जैसे चाहिए।
दिल्ली मॉडल के तहत हमने लोगों की बिजली ठीक कर दी, पानी ठीक कर रहे हैं। हमने स्कूल और अस्पताल ठीक कर दिए, मोहल्ला क्लीनिक बना दिए। सीवर और सड़कें ठीक कर रहे हैं। दिल्ली के अंदर आज बहुत सारे काम हो रहे हैं, जो काम एक सशक्त राष्ट्र की बुनियाद रखने के लिए बहुत जरूरी हैं। यह काम 1950 और 1960 के दौर में ही हो जाने चाहिए थे। हर बच्चे को अच्छी शिक्षा मिल जानी चाहिए थी। हर व्यक्ति के लिए अच्छे इलाज का इंतजाम हो जाना चाहिए था। यह सारे काम आज हो रहे हैं। आज आम आदमी पार्टी की सरकार का दिल्ली मॉडल पूरे देश को एक दिशा दिखा रहा है। यह मैं केवल कहने के लिए नहीं कह रहा हूं। हमने कई सेक्टर्स में काम किए हैं लेकिन खासतौर से स्वास्थ्य, शिक्षा और बिजली के क्षेत्र में हमने दिल्ली में जो काम किए हैं, उस मॉडल से पूरे देश का विकास हो सकता है।
हमने शिक्षा पर सबसे ज्यादा निवेश किया, जिससे कई सरकारी स्कूलों का कायाकल्प हुआ- अरविंद केजरीवाल
सीएम अरविंद केजरीवाल ने सदन को बताया कि आज पूरे देश के लोग मानते हैं कि दिल्ली में शिक्षा के क्षेत्र में बहुत अच्छा काम हुआ है। हमने शिक्षा के ऊपर सबसे ज्यादा निवेश किया है। इससे कई सारे सरकारी स्कूलों का कायाकल्प हुआ। इसका सबसे बड़ा सबूत यह है कि करीब 4 से 5 लाख बच्चों ने प्राइवेट स्कूल से अपना नाम कटवाकर सरकारी स्कूल में दाखिला लिया है। यह कोई छोटी बात नहीं है कि लोग अपने बच्चों को बड़े-बड़े प्राइवेट स्कूलों से निकालकर सरकारी स्कूलों में भर्ती करवा रहे हैं। एक जमाना ऐसा था, जब लोग अपने बच्चों को सरकारी स्कूलों में भेजना नहीं चाहते थे। अगर वो सरकारी स्कूल में चला भी जाए तो साल दो साल में नाम कटवा देते थे कि समय खराब कर रहा है, घर बैठेगा तो दो पैसे कमाएगा।
पिछले कुछ वर्षों में गुजरात में 6 हजार तो असम में 4.5 हजार सरकारी स्कूल बंद हुए, जबकि दिल्ली में नए सरकारी स्कूल खोले गए- अरविंद केजरीवाल
सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि आज अगर हमने दिल्ली के बच्चों को इतनी अच्छी शिक्षा दे दी तो पूरे देश में भी दे सकते हैं। गुजरात में पिछले कुछ सालों में 6 हजार सरकारी स्कूल बंद कर दिए गए। अगर दिल्ली मॉडल की तरह इन्हीं 6 हजार सरकारी स्कूलों को शानदार बनाया जाए तो गरीब बच्चों की शिक्षा सुनिश्चित हो सकेगी। असम में भी कोविड के बाद 4.5 हजार सरकारी स्कूल बंद कर दिए गए। ऐसा नहीं है कि वहां लोगों की जनसंख्या कम हो गई है। जनसंख्या तो बढ़ रही है, गरीब भी बढ़ रहे हैं। वहां और स्कूल खोलने की जरूरत है। हर राज्य में यही चल रहा है, सरकारी स्कूल बंद किए जा रहे हैं। इसका मतलब यह है कि सरकारी स्कूलों को बंद करके आपके बच्चों को प्राइवेट स्कूलों में भेजने के लिए दबाव बनाया जा रहा है।
एक तरह से दिल्ली को छोड़कर पूरा देश शिक्षा के निजीकरण की तरफ बढ़ रहा है। सरकारी स्कूलों में में न टीचर हैं और न पढ़ाई है। गुजरात में 350 स्कूल ऐसे हैं, जहां सभी क्लास के बच्चों के लिए केवल एक क्लासरूम है। लेकिन दिल्ली के सरकारी स्कूलों में बच्चों के सभी आधुनिक सुविधाए हैं। दिल्ली के सरकारी स्कूलों में अच्छे क्लासरूम, डेस्क और स्मार्ट क्लास रूम हैं। आज देश में शिक्षा को निजीकरण की तरफ धकेला जा रहा है और सरकारी स्कूल बंद करके गरीबों के बच्चों को प्राइवेट स्कूलों में जाने के लिए मजबूर किया जा रहा है। ऐसे में दिल्ली का मॉडल देश के लिए एक उदाहरण है। हमने दिल्ली में जितने शानदार स्कूल बनाए।
इस देश से गरीबी दूर करने का एकमात्र रामबाण तरीका शिक्षा ही है- अरविंद केजरीवाल
सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि पूरे देश में वर्तमान में 10 लाख सरकारी स्कूल हैं। इन स्कूलों में 17 करोड़ बच्चे पढ़ते हैं। 5 लाख करोड़ रुपए में देश सारे सरकारी स्कूल शानदार बनाए जा सकते हैं। केंद्र सरकार के लिए 5 लाख करोड़ रुपए कुछ नहीं है। अगर हर साल 1-1 लाख करोड़ रुपए भी खर्च किए जाए तो पांच साल में सारे सरकारी स्कूल शानदार बन सकते हैं। अगर इसमें आधा पैसा राज्य को देना हो तो फिर केंद्र सरकार को केवल 2.5 लाख करोड़ रुपये ही खर्च करने पड़ेंगे। मात्र 5 लाख करोड़ रुपए में सरकारी स्कूलों को शानदार बनाकर हम देश के 17 करोड़ बच्चों को शानदार शिक्षा और अच्छा भविष्य दे सकते हैं। अगर हमने पांच साल में अपने बच्चों को अच्छी शिक्षा दे दी तो इस देश से गरीबी दूर हो जाएगी।
मैं इस देश से गरीबी दूर करने का यह एक रामबाण तरीका दे रहा हूं। गरीबी हटाओ के भाषण देना तो बहुत आसान है। लेकिन गरीबी दूर करने की इच्छा शक्ति किसी में नही है। जैसे हमने दिल्ली में शानदार क्लासरूम, स्मार्ट बोर्ड, स्वीमिंग पूल, लिफ्टों वाले सरकारी स्कूल बनाए, जो बड़े-बड़े प्राइवेट स्कूलों को मात दे रहे हैं। मात्र पांच लाख करोड़ रुपए खर्च करके दिल्ली की तरह पूरे देश में गांव-गांव के अंदर शानदार सरकारी स्कूल बनाए जा सकते हैं।
‘‘आप’’ की सरकार ने सरकारी अस्पतालों में सभी का इलाज मुफ्त किया- अरविंद केजरीवाल
सीएम अरविंद केजरीवाल ने स्वास्थ्य को लेकर कहा कि आज दिल्ली के हर व्यक्ति के लिए हमने मुफ्त इलाज कर दिया है। चाहें कोई अमीर हो या गरीब सबको मुफ्त में अच्छा इलाज मिलेगा। हमने सरकारी अस्पताल अच्छे कर दिए, जगह-जगह मोहल्ला क्लीनिक खोल दिए। मुझे यह कहते हुए बड़ा दुख है कि भाजपा ने पिछले दो सालों में सरकारी अस्पतालों का बेड़ा गर्क करने में कोई कसर नहीं छोड़ी। पिछले दो साल में एलजी साहब ने अधिकारियों के माध्यम से दवाइयां और सारे टेस्ट रोक दिए। मैंने लड़-लड़कर उसे दोबारा चालू कराया है। यह अच्छी बात नहीं है। जिन लोगों ने शिक्षा और स्वास्थ्य को ठीक किया, उनको पकड़ कर जेल में डाल दिया। फिर भी जब अस्पताल चल रहे थे तो डॉक्टरों की भर्ती रोक दी। अस्पतालों में तैनात डेडा एंट्री ऑपरेटर मरीजों का रजिस्ट्रेशन करते थे। एक दिन अचानक ऑर्डर पास करके सारे सरकारी अस्पतालों से डेडा एंट्री ऑपरेटर्स हटा दिए। एक दिन तो ऐसा आया, जब अस्ताल में दवाइयों और रजिस्ट्रेशन की खिड़की पर कोई नहीं बैठा था। इसके बाद भी इस सदन में आकर इन लोगों की यह कहने की हिम्मत होती है कि सरकारी अस्पताल खराब पड़ें है।ं इन लोगों ने ही सरकारी अस्पतालों को खराब किया है। आज हम लड़-लड़कर इन अस्पतालों में व्यवस्था को दुरुस्त करने की कोशिश कर रहे हैं।
आयुष्मान भारत कार्ड का लाभ अस्पताल में भर्ती होने पर ही मिलता है, छोटी-मोटी बिमारियां इसमें कवर नहीं हैं- अरविंद केजरीवाल
सीएम अरविंद केजरीवाल ने आयुष्मान भारत योजना पर कहा कि आयुष्मान भारत योजना सबसे बड़ा घोटाला है। आयुष्मान भारत में लाभार्थियों को एक हेल्थ इंश्योरेंस कार्ड दिया जाता है। वो कार्ड लेकर आप किसी भी अस्पताल में चले जाओ। इसके तहत आपके परिवार का साल में 5 लाख रुपये का इजाल मुफ्त होगा। इसका लाभ अस्पताल में भर्ती होने की स्थिति में ही मिलेगा। जबकि खांसी, बुखार या रोजमर्रा की दवाइयां और टेस्ट इसमे कवर नहीं होगा। अगर लाभार्थी को कोई बड़ी बीमारी होती है और उसे अस्पताल में भर्ती होना पड़ता है तो उसके परिवार का साल का 5 लाख रुपये का खर्चा मुफ्त है। अब वो ऐसा इंश्योरेंस लेकर क्या करे। उत्तराखण्ड में कई-कई मील चलने पर एक अस्पताल आता है, लोग 50-50 कोस दूर मरीजों को खटिया पर उठाकर ले जाते हैं। इन लोगों ने अस्पताल बनाने की जगह लोगों को कार्ड दे दिया। लोग इस कार्ड को लेकर कहां जाएंगे। पहले अस्पताल बनाने होंगे। कुल मिलाकर स्वास्थ्य क्षेत्र भी निजीकरण की ओर बढ़ रहा है। ये सरकारी अस्पताल बंद करते जा रहे हैं और लोगों को एक कार्ड पकड़ा दिया कि प्राइवोट अस्पताल में जाकर इलाज करवा लो।
आयुष्मान योजना के तहत 2.5 लाख वार्षिक आय वालों को ही 5 लाख तक का इलाज मुफ्त मिलेगा, हमने तो सारा इलाज और सबका इलाज मुफ्त कर दिया है- अरविंद केजरीवाल
सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि आयुष्मान भारत का लाभ केवल उन लोगों को मिलेगा, जिसकी पारिवारिक आय केवल 2.5 लाख रुपये सालाना से कम है। यानि 20 हजार रुपए रूपये महीने का वेतन है। आज दिल्ली में 20 हजार रुपए तो न्यूनतम वेतन है। क्या जो व्यक्ति महीने के 30-40 हजार महीना कमाता है वो अपना इलाज नहीं करवा सकता है। आज जो आदमी 50 हजार रुपए महीना भी कमाता है और उसे हार्ट अटैक हो जाए तो इलाज नहीं करवा सकता है। इस योजना में यह भी प्रावधान है कि सरकारी अस्पतालों में भी हर सेवा के लिए पैसे लेने पड़ेंगे। सरकारी अस्पताल हर चीज के पैसे लेगा, फिर उस आदमी के ऊपर है कि वो सरकारी में जाए या प्राइवेट में जाए। लेकिन जहां जाएगा उसे दोनों जगह 5 लाख रुपये तक का ही इलाज मुफ्त मिलेगा।
ये इस योजना को दिल्ली में लागू करवाने के लिए हमारे पीछे पड़े हैं। जबकि हमनें सरकारी अस्पतालों में सारा कुछ मुफ्त कर दिया है, तो हम 5 लाख की लिमिट क्यों लगाएं? आयुष्मान भारत योजना कहना है कि सरकारी अस्पताल में ब्लड टेस्ट और दवाइयों के पैसे लेंगे, डॉक्टर से सलाह के शुल्क लेंगे। हमने तो सबके लिए सारा इलाज, टेस्ट और दवाइयां मुफ्त कर दिया है। ऐसे में केंद्र की आयुष्मान भारत योजना अच्छी है या हमारा केजरीवाल मॉडल अच्छा है?
दिल्ली के जीटीबी अस्पताल में 80 फीसद लोग यूपी से आकर इलाज करा रहे हैं, जबकि वहां आयुष्मान भारत योजना लागू है- अरविंद केजरीवाल
सीएम ने कहा कि अगर इनकी आयुष्मान भारत योजना अच्छी है तो दिल्ली के बॉर्डर पर स्थित जीटीबी अस्पताल को जाकर देखना चाहिए। जीटीबी अस्पताल में 80 फीसदी मरीज यूपी से आ रहे हैं। यूपी मे तो पिछले चार साल से आयुष्मान भारत योजना लागू है, फिर यूपी के लोग दिल्ली के अस्पतालों में इलाज करवाने क्यों आ रहे हैं। यूपी के साथ-साथ दिल्ली से लगे गुरुग्राम, फरीदाबाद से हरियाणा के मरीज भी हमारे सरकारी अस्पतालों में इलाज करवाने के लिए आ रहे हैं। क्योंकि सरकारी अस्पतालों में 5 लाख रुपए की कोई लिमिट नहीं है। आज दिल्लीवालों ने पूरे देश का बोझ उठा रखा है। नजफगढ़ के सरकारी अस्पतालों में हरियाणा के लोग अपना इलाज करवा रहे हैं।
कैग की जांच में आयुष्मान भारत में कई घपले सामने आए हैं, ये केंद्र सरकार का मॉडल है और हमारा मॉडल है कि हमने शानदार अस्पताल बनाए – केजरीवाल
सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि सीएजी ने 2018 से 2021 तक आयुष्मान भारत के तहत 964 अस्पतालों की जांच की। सीएजी ने देश के 161 जिलों और 28 राज्य व केंद्र शासित प्रदेशों की जांच की। जिसमें उन्होंने पाया कि 2 लाख से ज्यादा ऐसे लोग थे जिनके अस्पताल से डिस्चार्ज होने की तारीख उनकी सर्जरी से पहले की थी। यानि वो लोग अस्पताल से डिस्चार्ज पहले हो गए और सर्जरी बाद में हुई। इससे साफ मालूम चलता है कि ये फर्जी हैं।
46 हजार ऐसे केस थे जिसमें मरीज के डिस्चार्ज होने की तारीख उसके भर्ती होने से पहले की थी। 2 लाख से ज्यादा केस मृत लोगों के थे। ढेरों केस ऐसे थे, तो वयस्क थे लेकिन उनका इलाज पीडियाट्रिशियन (बाल रोग विशेषज्ञ) ने किए थे। 9 लाख ऐसे केस थे, जिनका रजिस्ट्रेशन एक की नंबर 9999999999 से हो रखा था। कैग की जांच में इस तरह के कई घपले सामने आए हैं। ये केंद्र सरकार का मॉडल है और हमारा मॉडल है कि हमने शानदार अस्पताल बनाए। जबकि सरकारी अस्पतालों का बुरा हाल था। अल्ट्रासाउंड जैसे टेस्ट के लिए लोगों की महीनों की लंबी वेटिंग होती थी, इससे छुटकारा दिलाने के लिए हम फरिश्ते स्कीम लेकर आए हैं कि अगर किसी को टेस्ट के लिए वेटिंग एक महीने से ज्यादा है तो वो किसी प्राइवेट अस्पताल से अपना टेस्ट करवा सकता है और उसका खर्चा दिल्ली सरकार देगी। लेकिन इनके एलजी ने इस स्कीम को भी रोक दिया। उन्होंने इस स्कीम की भी पेमेंट नहीं होने दी।
एलजी ने दिल्ली के लोगों को दुखी कर रखा है। यह भाजपा के लोग ही करवा रहे हैं। ये गंदी राजनीति है। ऐसा मत करो। आप लोगों को पाप चढ़ेगा। आप लोगों को ऊपर वाला देख रहा है, ऊपर वाले से डरो।
सीएम अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली मॉडल का जिक्र करते हुए कहा कि गली-गली में मोहल्ला क्लीनिक खोलेंगे और सभी को दवाइयां और टेस्ट की मुफ्त सुविधा देंगे। अगर किसी को छोटी-मोटी बीमारी हो तो उसे दूर जाने की जरूरत नहीं है। हम बड़े-बड़े शानदार सरकारी अस्पताल बनाएंगे, किसी को फोर्टिस, मैक्स जैसे प्राइवेट अस्पतालों में नहीं जाना पड़ेगा। हमारे सरकारी अस्पताल ही फोर्टिस और मैक्स जैसे लगेंगे। पूरे देश के अंदर शानदार सरकारी अस्पताल और गांव-गांव में मोहल्ला क्लीनिक खोलने के लिए मात्र 5 लाख करोड़ रुपए का खर्चा है। मैंने दिल्ली में अस्पताल और मोहल्ला क्लीनिक बनाकर दिखाया है। पंजाब में अब खोल रहे हैं। पंजाब में 800 मोहल्ला क्लीनिक बना दिए हैं। पंजाब के अंदर 40 सिविल अस्पतालों का जिर्णोंद्धार चल रहा है। हर अस्पताल के अंदर सारा इलाज भी मुफ्त कर रहे हैं। केवल 5 लाख करोड़ रुपए खर्च करके देश के 140 करोड़ लोगों को मुफ्त इलाज दिया जा सकता है। आज दिल्ली ने स्वास्थ्य के क्षेत्र में भी देश को एक दिशा दिखाई है।
पूरे देश में लंबे-लंबे पावर कट लगते हैं, केवल दिल्ली-पंजाब में 24 घंटे बिजली आती है- अरविंद केजरीवाल
सीएम अरविंद केजरीवाल ने बिजली का जिक्र करते हुए कहा कि पहले दिल्ली के अंदर बहुत पावर कट लगते थे। लेकिन आज देश की राजधानी दिल्ली में 24 घंटे बिजली आती है। पंजाब के अंदर भी पहले पावर कट लगते थे। पंजाब में ‘‘आप’’ की सरकार बने अभी केवल दो साल ही हुए हैं, लेकिन अब 24 घंटे बिजली आती है। हमारे देश में 24 घंटे बिजली क्यों नहीं आती है? केंद्र सरकार भाजपा की सरकार बने 10 साल हो गए हैं। पूरे देश में इतने पावर कट क्यों लगते हैं, किसानों और उद्योगों को पूरी बिजली क्यों नहीं मिलती है। सीएम ने कहा कि देश के अंदर बिजली की कमी नहीं है। पूरे देश में 4 लाख मेगावाट बिजली बनाने की क्षमता है, जबकि पूरे देश में जून-जुलाई की पीक डिमांड 2 लाख मेगावाट है। देश को बिजली की जरूरत 2 लाख मेगावाट है और उपलब्धता 4 लाख मेगावाट है, फिर भी पावर कट लगते हैं। इतनी निकम्मी सरकार तो कभी नहीं देखी। हमसे सीख सकते हैं, हम सिखाने के लिए तैयार हैं। हम यहां राजनीति करने नहीं आए हैं। आप सारे वोट ले लो। हमें देश की सेवा करने की जिम्मेदारी हमें दे दो, हम सेवा करके दिखा देंगे। केंद्र सरकार जवाब दे कि देश के पास 4 लाख मेगावाट बिजली बनाने की क्षमता है और 2 लाख मेगावाट बिजली की मांग है, फिर भी हमें बिजली क्यों नहीं मिल रही है?
दिल्ली की तरह देश के हर परिवार को 200 यूनिट बिजली फ्री देने के लिए सिर्फ 1.5 लाख करोड़ चाहिए- अरविंद केजरीवाल
सीएम ने फ्री बिजली देने का विरोध करने वालों को जवाब देते हुए कहा कि कई लोग कहते हैं कि हमने दिल्ली और पंजाब में बिजली मुफ्त कर दी, यह टिकाउ मॉडल नहीं है। मैंने फ्री बिजली देने को भी कैलकुलेट किया है। पूरे देश के हर परिवार को 200 यूनिट बिजली फ्री देने के लिए केवल 1.5 लाख करोड़ रुपए चाहिए। 5 लाख करोड़ रुपए में स्कूल ठीक हो जाएंगे। 5 लाख करोड़ में अस्पताल ठीक हो जाएंगे और 1.5 लाख करोड़ रुपए में सबकी बिजली फ्री हो जाएगी। केवल 11.5 लाख करोड़ रुपए में देश के हर बच्चे को अच्छी शिक्षा, हर परिवार को अच्छा इलाज और 24 घंटे व फ्री बिजली मिल जाएगी। लेकिन इन्होंने यह 11 लाख करोड़ रुपए उठाकर अपने दोस्तों का ऋण माफ कर दिया। केंद्र की सत्ता में बैठी पार्टी को जवाब देना चाहिए कि दोस्ती निभाना ज्यादा जरूरी था या देश के 140 करोड़ लोगों के प्रति अपना फर्ज निभाना ज्यादा जरूरी था।
केंद्र सरकार ने सबकुछ बेच दिया, लेकिन पंजाब में ‘‘आप’’ की सरकार ने प्राइवेट पावर प्लांट खरीद लिया- अरविंद केजरीवाल
सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि पंजाब में ‘‘आप’’ की सरकार खेती करने के लिए गांव-गांव में पानी पहुंचा दिया है। इससे पहले खेती के लिए पानी नहीं होता था। पानी के लिए लड़ाई-झगड़े होते थे। हमने किसी से और पानी की भीख नहीं मांगी। लोगों को यकीन नहीं हो रहा है कि ऐसी सरकार हो सकती है। पंजाब के अंदर एक बड़ा चमत्कार हुआ है। केंद्र की भाजपा सरकार ने एयरपोर्ट, सी-पोर्ट, एलआईसी, भेल और रेल समेत सबकुछ बेच दिया। इसमें घोटाला है। लेकिन पंजाब के अंदर गंगा उल्टी बह रही है। प्राइवेट सेक्टर में एक पावर प्लांट था। 6 हजार करोड़ रुपए का पावर प्लांट उनसे चल नहीं रहा था। हमारी सरकार ने उस प्लांट को 1100 करोड़ रुपए में खरीद लिया। हम उसे चलाकर दिखाएंगे। आज पूरे देश को आम आदमी पार्टी का दिल्ली-पंजाब का मॉडल दिशा दे रहा है। यह अच्छी बात है। लेकिन दुख इस बात का है कि हमारे कामों को रोकने की पूरी कोशिश की जा रही है।
हमने तो कभी किसी से दुश्मनी नहीं की है। हमें राजनीति करनी नहीं आती है। हम यही चाहते हैं कि हमें भी काम करने दो, आप भी काम करो। आपको हम सिखाएंगे और सारा वोट आप लो।