दिल्ली

दस लाख से ज्यादा लोगों के पानी बिल माफी योजना को भाजपा ने रोका तो सड़क पर उतरे सीएम केजरीवाल, फाड़ा बिल

दिल्लीवालों को पानी के बढ़े बिलों से राहत देने के लिए लाई जा रही योजना को भाजपा ने रोका तो शनिवार को सीएम अरविंद केजरीवाल खुद सड़क पर उतर गए।

सीएम ने कालकाजी विधानसभा के गोविंदपुरी इलाके का दौरा कर स्थानीय निवासियों से मुलाकात की और पानी के गलत बिलों को ठीक कराने का भरोसा दिया। इस दौरान सीएम अरविंद केजरीवाल ने एक गलत बिल को फाड़ते हुए कहा कि इसके समाधान के लिए दिल्ली सरकार वन टाइम सेटलमेंट स्कीम लाना चाहती है, लेकिन भाजपा ने एलजी के माध्यम से अफसरों से कह कर स्कीम को रोक दिया है। दिल्ली की जनता देख रही है

कि कैसे मैं इनसे लड़-लड़कर सारे काम करा रहा हूं। दिल्ली के लोग िंचंता न करें, मेरे उपर भरोसा रखें। पानी बिल माफी योजना को लाने में भाजपा चाहे जितनी अड़चनें डाले, लेकिन वो सभी के बिल माफ करवा कर रहेंगे। वहीं, सीएम से आश्वासन मिलने के बाद स्थानीय लोगों ने पानी के गलत बिलों को फाड़ दिया। लोगों ने कहा कि हमें आप (मुख्यमंत्री) पर पूरा भरोसा है, आप ही हमारी समस्या का समाधान कर सकते हैं। इस दौरान स्थानीय विधायक एवं कैबिनेट मंत्री आतिशी भी मौजूद रहीं।

गोविंदपुरी में स्थानीय लोगों से मुलाकात के दौरान सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि कोरोना के बाद से ज्यादातर लोगों के पानी का बिल गलत आ रहा है। हमने पानी फ्री कर रखा है। फिर भी इतना ज्यादा बिल आ रहा है तो गलत है। यह सारा गलत बिल माफ कराउंगा। हम गलत बिलों को माफ करने के लिए स्कीम लाना चाह रहे हैं, लेकिन भाजपा वाले एलजी से कह कर स्कीम नहीं लाने दे रहे हैं। भाजपा वाले हमारे हर काम में टांग अड़ाते हैं।

भाजपा की दुश्मनी मेरे से है, जनता से क्या दुश्मनी है। इनको जनता के काम करने देना चाहिए। सीएम ने कहा कि जिन लोगों के गलत बिल आए हैं, वो अपने बिल न जमा करें, हम जल्द से जल्द स्कीम लाने का प्रयास कर रहे हैं। अगर सीधी उंगली से काम नहीं होगा तो उंगली टेढ़ी करेंगे। एलजी और भाजपा ने मिलकर पूरी दिल्ली को दुखी कर रखा है। ये लोग दिल्लीवालों से दुश्मनी निकाल रहे हैं। दिल्ली में 11 लाख ऐसे परिवार हैं, जो गलत बिल से परेशान हैं। सीएम ने कहा कि इस बार भाजपा को नहीं जीताना। हमारे हाथ मजबूत करिए ताकि हम संसद में दिल्लीवालों की आवाज उठा सकें।

सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि बहुत सारे लोगों के पानी के गलत बिल आ रहे हैं। 50-50 गज के मकान हैं। उसमें रहने वाले लोगों के 50 हजार से लेकर एक लाख से ज्यादा तक का बिल आया है। कोरोना में सबसे ज्यादा समस्या शुरू हुई। कोरोना की वजह से कई महीने मीटर रीडर रीडिंग लेने नहीं गए। उन्होंने दफ्तर में बैठ कर फर्जी रीडिंग भर दी। उसकी वजह लोगों के गलत बिल आने लगे। जनता ने वो बिल भरे नहीं, उस पर ब्याज और एलपीसी पैनल्टी लगती गई और बिल लाखों में पहुंच गए। हमने पूरी दिल्ली में एक आंकलन किया है कि करीब 11 लाख परिवारों के गलत बिल आ रहे हैं। इतने लोगों के बिल ठीक नहीं किए जा सकते। इसको ठीक करने में 80 साल लग जाएंगे। इसलिए हम वन टाइम सेटलमेंट स्कीम लेकर आए हैं, ताकि जिन लोगों के गलत बिल आए हैं, उनके बिल ऑटोमैटिक ठीक किए जा सकें।

सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि इस स्कीम के तहत जिन लोगों के पिछले पांच साल में दो ओके रीडिंग है, उसका औसत बिल निकाल लिया जाएगा और उसी आधार पर सारे महीने का बिल बना देंगे। जो लोग महीने में 20 हजार लीटर से कम पानी का इस्तेमाल किया है, उनका बिल जीरो हो जाएगा।

हमारा अपना अनुमान है कि इस स्कीम के लागू होने से 90 फीसद लोगों का बिल जीरो हो जाएगा। यह सभी लोग आज धक्के खाने के लिए मजबूर हैं। लोग दिल्ली जल बोर्ड के चक्कर काट रहे हैं। जल बोर्ड में रिश्वत दे दो तो बिल ठीक हो जाता है और रिश्वत नहीं दो तो नहीं ठीक होता है। मेरा दिल्लीवालों से कहना है कि जिन लोगों को लगता है कि उनके बिल गलत आ रहे हैं, वो अपना बिल फाड़कर फेंक दें, बिल जमा करने की जरूरत नहीं है। मैं सभी के बिल ठीक करा दूंगा।

सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि एलजी भाजपा के हैं। भाजपा वालों ने एलजी के जरिए अफसरों से कहकर हमारी वन टाइम सेटलमेंट स्कीम रूकवा दी है। यह बहुत गलत बात है। यह जनता के हित की स्कीम है। भाजपा को यह नहीं करना चाहिए। भाजपा की दुश्मनी आम आदमी पार्टी से है, केजरीवाल से है, ये लोग दिल्ली की जनता से क्यों दुश्मनी निकाल रहे हैं। मैं आज यहां दिल्ली की जनता का साथ मांगने आया हूं। दिल्ली की जनता मेरा साथ दे, मैं यह स्कीम लागू करवा कर रहूंगा। इसके लिए मुझे भूख हड़ताल करना पड़ेगा तो भूख हड़ताल भी करूंगा। अभी तक जैसे मैंने एलजी से और सारे काम करवा दिए, वैसे ही यह काम भी कराकर छोड़ूंगा।

सीएम अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट कर कहा कि दिल्ली में 10 लाख से ज़्यादा लोगों के पानी के ज़्यादा बिल आए हैं। ऐसे ही कुछ परिवारों से आज उनके घर जाकर मिला। इन ग़लत बिल को ठीक करने के लिए हम योजना भी लाए हैं, लेकिन कुछ लोग उसे लागू नहीं करने दे रहे।

सीएम ने पानी के गलत बिल को फाड़ा

सीएम अरविंद केजरीवाल के पास भारी संख्या में ऐसे लोग अपने बिल लेकर आए, जिनके ज्यादा बिल आए हैं। इनमें कुछ लोगों के तो डेढ़ लाख से ज्यादा बिल है। सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि जिनके गलत बिल आए हैं, वो अपने बिल फाड़ दें। मैं इसे ठीक करा कर रहूंगा। इस दौरान सीएम ने खुद एक बिल लेकर फाड़ा और लोगों से स्कीम लाने में सरकार का साथ देने का सहयोग मांगा।

हम बच्चे पढ़ाएं या हजारों रुपए का बिल भरें

गोविंदपुरी के जिस इलाके में सीएम अरविंद केजरीवाल ने दौरा किया, वहां ज्यादातर छोटे मकान हैं। वन या टू बीएचके के अधिकतर मकानों में भी लोगों के बहुत ज्यादा बिल आ रहे हैं। किसी के 20 हजार तो किसी के 50 हजार, किसी के 70 हजार तो किसी के एक लाख से भी ज्यादा बिल आए हैं। लोगों ने कहा कि हम बच्चे पढ़ाएंगे या बिल भरेंगे। 50 गज के मकान में एक लाख से ज्यादा बिल आ रहे हैं। इसे हम कैसे भरेंगे। हम डीजेबी के ऑफिस में जाते हैं तो कोई सुनता नहीं है।

आप स्कीम लाएं, हम सरकार के साथ हैं

स्थानीय लोगों ने सीएम अरविंद केजरीवाल से कहा कि सरकार बहुत अच्छी स्कीम ला रही है। हमें यह स्कीम चाहिए। लोगों ने सीएम से अनुरोध किया है कि वो वन टाइम सेटलमेंट स्कीम लेकर आएं, हम कंधे से कंधा मिलाकर सरकार के साथ खड़े हैं।

पानी का घरेलू कनेक्शन है, व्यवसायिक का बिल आ रहा

सीएम से मिलने के दौरान एक स्थानीय निवासी ने बताया कि उनका घरेलु पानी का कनेक्शन है, लेकिन बिल व्यवसायिक का आ रहा है। उनका पानी मीटर भी चालू है, लेकिन उनके बिल पर लिख कर दिया गया है कि मीटर बंद है। मैं आवेदन देकर उनको बताता भी हूं कि मीटर चालू है, लेकिन हर बार बिल में मीटर बंद होना लिखकर आता है।

लोगों ने कहा, बिजली फ्री मिल रही

इस दौरान सीएम अरविंद केजरीवाल ने स्थानीय लोगो से जानकारी ली कि क्या उन्हें दिल्ली सरकार द्वारा दी जा रही फ्री बिजली का लाभ नियमित रूप से मिल रहा है या नहीं। इस पर लोगों ने कहा कि उन्हें फ्री बिजली का लाभ लगातार मिल रहा है। केवल पानी के बिल को लेकर उन्हें दिक्कत है। लोगों ने बताया कि बिजली फ्री मिल रही है और 24 घंटे मिल रही है।

जनता ने कहा, दिल्ली में बहुत अच्छा काम कर रही ‘‘आप’’ की सरकार

स्थानीय लोगों ने सीएम से कहा कि दिल्ली में आम आदमी पार्टी की सरकार बहुत ही अच्छा काम कर रही है। हम लोग सरकार के काम से बहुत खुश है। समय-समय पर हमारा सारा काम हो रहा है। केवल पानी के बिलों को लेकर परेशान हैं, लेकिन हमें आप (मुख्यमंत्री) पर भरोसा है कि इसे ठीक करा देंगे, ताकि बिजली की तरह पानी के बिल भी हमारा जीरो आने लगे।


गलत बिलों से दिल्ली के 10.6 लाख लोग हैं परेशान

दिल्ली के करीब 10.6 लाख लोग पानी के गलत बिल से परेशान हैं। कोरोना के समय मीटर की रीडिंग नहीं ली गई। दिल्ली में मुफ्त पानी योजना (20 किलो लीटर/माह से कम इस्तेमाल पर) लागू है, ऐसे में अगर किसी का बिल नहीं आया तो उसने अपना बिल जीरो मान लिया। अब बकाया बिल में लेट पेमेंट सरचार्ज जुड़ने की वजह से बिल और बढ़ गया है। परेशान उपभोक्ताओं ने अपना पानी का बिल भरना बंद कर दिया है।

वन टाइम सेटलमेंट स्कीम से से मिलेगी राहत

दिल्ली सरकार की वन टाइम सेटलमेंट स्कीम के तहत जिन उपभोक्ताओं के पानी के बिल गलत हैं उनके किन्हीं दो सही मीटर रीडिंग को आधार मानते हुए उसके औसत के हिसाब से दूसरा बिल दिया जाएगा। जिसे भरने के लिए उन्हें चार महीने का समय मिलेगा, इसके बाद वो नए सिरे से शुरुआत कर सकेंगे। हर महीने 20 हजार किलो लीटर से कम पानी इस्तेमाल करने वाले उपभोक्ताओं का पूरा बिल माफ हो जाएगा। साथ ही उपभोक्ताओं का लेट पेमेंट सरचार्ज (एलपीएससी) भी पूरी तरह से माफ कर दिया जाएगा। इस योजना का लाभ उठाने के लिए उपभोक्ताओं के पास चालू मीटर होना जरूरी है। जिसके मीटर खराब हैं, उसे नया मीटर लगवाना होगा।

90 फीसद उपभोक्ताओं का बिल होगा जीरो

इस योजना से दिल्ली जल बोर्ड के 40 फीसद उपभाक्ताओं को लाभ होगा और करीब 90 फीसद उपभोक्ताओं का पूरा बिल जीरो हो जाएगा। इससे लंबे समय से अटके बिलों को भुगतान की समस्या सुलझेगी। उपभाक्ताओं को अपने आप रीकास्ट बिल मिल जाएंगे और उन्हें जल बोर्ड के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। मीटर की अनिवार्यता की वजह से करीब 11 लाख से ज्यादा लोग दिल्ली जल बोर्ड के दायरे में आ जाएंगे।

उपभोक्ता ऐसे कर पाएंगे बकाया पानी बिलों का भुगतान

पहला : अगर उपभोक्ता ने दो से पांच वर्ष तक बिल नहीं भरा है, तो इस दौरान उसके जो दो वाके बिल मिलते हैं, उसे सही मान लिया जाएगा। इसका औसत निकालकर उसी आधार पर बाकी महीनों का बिल लिया जाएगा।

दूसराः यह नेबरहुड पॉलिसी है। अगर किसी के यहां पानी का मीटर ही नहीं है, तो उस स्थिति में उसके गली में उसी साइज वाले मकान से औसतन बिल निकाला जाएगा। इसके बाद, उसी आधार पर उसका बिल बना दिया जाएगा। अगर किसी का औसतन बिल 20 हजार लीटर से कम है, तो उसका सारा बिल जीरो हो जाएगा। जबकि ज्यादा होने पर जुर्माना और ब्याज छोड़कर उससे बाकी बिल लिया जाएगा।

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